बेसिक शिक्षक सेवा नियमावली में आवश्यक संशोधन कर वर्ष 2017 से 2019 तक के एनआईओएस डीएलएड प्रशिक्षुओं को भी भर्ती में शामिल किया जाएगा
देहरादून: उत्तराखंड में युवाओं के पास सरकारी शिक्षक बनने का एक और मौका आने जा रहा है. इसके तहत राज्य में प्राथमिक विद्यालयों के लिए जल्द ही सहायक अध्यापकों की नियुक्ति की जाएगी. शिक्षा विभाग के अधिकारियों को इसके लिए जरूरी दिशा निर्देश जारी किए गए हैं.
मंत्री धन सिंह ने ली समीक्षा बैठक: विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान शिक्षा मंत्री ने अधिकारियों के साथ इस संबंध में जरूरी निर्णय लिया है. इसके अलावा क्षतिग्रस्त विद्यालयों की मरम्मत के काम को भी तेजी से आगे बढ़ाने के निर्देश दिए गए हैं.
प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापकों के 2100 रिक्त पदों पर भर्ती: प्रदेश के शिक्षित बेरोजगार युवाओं के लिए अच्छी खबर है. उत्तराखंड सरकार अब राजकीय प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापकों के 2100 रिक्त पदों पर शीघ्र भर्ती करने जा रही है. विद्यालयी शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत ने बुधवार को अपने शासकीय आवास पर हुई विभागीय समीक्षा बैठक में इस भर्ती प्रक्रिया को जल्द शुरू करने के निर्देश दिए हैं.
युवाओं के पास सरकारी शिक्षक बनने का बड़ा मौका: धन सिंह रावत ने बताया कि राज्य सरकार प्राथमिक शिक्षा को मजबूत बनाने के साथ ही बेरोजगार युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करने के लिए लगातार प्रयासरत है. पिछले दो वर्षों में प्राथमिक शिक्षकों के तीन हजार से अधिक पदों को भरा जा चुका है. हालांकि, कुछ अभ्यर्थियों द्वारा एनआईओएस डीएलएड को शामिल करने के मुद्दे पर न्यायालय में याचिकाएं दाखिल किए जाने से भर्ती प्रक्रिया कुछ समय के लिए बाधित रही थी. अब सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद राज्य कैबिनेट ने बेसिक शिक्षक सेवा नियमावली में आवश्यक संशोधन कर वर्ष 2017 से 2019 तक के एनआईओएस डीएलएड प्रशिक्षुओं को भी भर्ती प्रक्रिया में शामिल करने का मार्ग प्रशस्त कर दिया है. साथ ही सहायक अध्यापक के पदों को भी नियमावली में जोड़ा गया है.
जिला स्तर पर होगी भर्ती प्रक्रिया: प्रदेश में यह भर्ती जिला स्तर पर पूरी की जाएगी. ऐसा इसलिए क्योंकि प्राथमिक शिक्षकों का संवर्ग जिला स्तर पर ही है. इसके लिए अधिकारियों को भी निर्देश दिए गए हैं. सभी जिला बेसिक शिक्षा अधिकारियों को विज्ञप्ति जारी करने और चयन प्रक्रिया जल्द शुरू करने के लिए कहा गया है.
स्थानांतरण प्रक्रियाओं को पारदर्शी बनाने पर जोर: प्राथमिक विद्यालयों में शिक्षकों की नियुक्ति के अलावा आपदा से क्षतिग्रस्त विद्यालयों के पुनर्निर्माण व मरम्मत कार्यों के लिए भी समीक्षा बैठक में चर्चा की गई. इसमें निर्देश दिए गए कि ऐसे विद्यालयों के लिए जरूरी बजट का आकलन कर लिया जाए, ताकि छात्रों को बेहतर शैक्षिक वातावरण मिल सके. इसके अलावा शिक्षकों के त्रिस्तरीय ढांचे को तैयार करने और स्थानांतरण प्रक्रियाओं को पारदर्शी व त्वरित बनाने पर भी बल दिया गया.
